मार्चांत, 2015 में भारत का विदेशी ऋण

India’s External Debt at End-March 2015

प्रश्न-हाल ही में वित्त मंत्रालय ने भारत के विदेशी ऋण स्टॉक से संबंधित भारत की विदेशी ऋण प्रास्थिति रिपोर्ट, 2014-15’ जारी की। इसके अनुसार भारत का विदेशी ऋण स्टॉक मार्चांत 2015 में कितना था?
(a) 446.3 बिलियन अमेरिकी डॉलर
(b) 475.8 बिलियन अमेरिकी डॉलर
(c) 470.80 बिलियन अमेरिकी डॉलर
(d) 460.9 बिलियन अमेरिकी डॉलर
उत्तर-(b)
संबंधित तथ्य

  • 28 अगस्त, 2015 को वित्त मंत्रालय ने भारत के विदेशी ऋण स्टॉक से संबंधित ‘भारत का विदेशी ऋण प्रास्थिति रिपोर्ट, 2014-15’ (India’s External Debt: A Status Report, 2014-15) का इक्कीसवां अंक जारी किया।
  • इस रिपोर्ट के अनुसार, भारत का विदेशी ऋण स्टॉक मार्चांत 2015 में 475.8 बिलियन अमेरिकी डॉलर था और इसमें मार्चांत 2014 की स्थिति (446.3 बिलियन अमेरिकी डॉलर) की तुलना में 29.5 बिलियन अमेरिकी डॉलर (6.6 प्रतिशत) की वृद्धि हुई।
  • रुपये की दृष्टि से मार्चांत, 2015 ये विदेशी ऋण 29,78,666 करोड़ रुपये रहा जो मार्चांत, 2014 में 26,82,752 करोड़ रुपये था।
  • मार्चांत, 2015 में विदेशी ऋण सकल घरेलू उत्पाद (GDP) अनुपात का 23.8 प्रतिशत था जबकि मार्चांत 2014 में यह अनुपात 23.6 प्रतिशत था।
  • मार्चांत, 2015 में दीर्घावधिक विदेशी ऋण 391.1 बिलियन अमेरिकी डॉलर था जो मार्चांत 2014 की स्थिति की तुलना में 10.3 प्रतिशत वृद्धि दर्शाता है।
  • कुल विदेशी ऋण में दीर्घावधिक विदेशी ऋण का हिस्सा मार्चांत 2015 में 82.2 प्रतिशत रहा जबकि मार्चांत, 2014 में 79.5 प्रतिशत था।
  • उल्लेखनीय है कि इस वर्ष के दौरान दीर्घावधिक विदेशी ऋण में वृद्धि मुख्य रूप से वाणिज्यिक उधार और एनआरई जमा राशि में वृद्धि के कारण हुई।
  • मार्चांत, 2015 में अल्पावधिक विदेशी ऋण 84.7 बिलियन अमेरिकी डॉलर रहा जो मार्चांत 2014 के 91.7 बिलियन अमेरिकी डॉलर की तुलना में 7.6 प्रतिशत की कमी को दर्शाता है।
  • ऐसा मुख्य रूप में सरकारी खजाना हुंडियो में विदेशी संस्थागत निवेशकों (FII) द्वारा निवेश में कमी के कारण हुआ।
  • इसके अतिरिक्त, कुल विदेशी ऋण में अल्पावधिक ऋण का हिस्सा मार्चांत, 2014 के 20.5 प्रतिशत से घटकर मार्चांत, 2015 में 17.8 प्रतिशत हो गया।
  • इसके अनुसार, मार्चांत, 2015 में सरकारी (Sovereign) विदेशी ऋण 89.7 बिलियन अमेरिकी डॉलर रहा जो मार्चांत, 2014 में 83.7 बिलियन अमेरिकी डॉलर था।
  • यह मार्चांत, 2015 में कुल विदेशी ऋण का 18.90 प्रतिशत रहा जबकि मार्चांत, 2014 में यह 18.8 प्रतिशत था।
  • मार्चांत, 2015 में सरकार की गारंटी युक्त विदेशी ऋण 9.5 बिलियन अमेरिकी डॉलर रहा जबकि मार्चांत, 2014 में यह 9.9 बिलियन अमेरिकी डॉलर था।
  • भारत के विदेशी ऋण की मुद्रा संरचना दर्शाती है कि इसमें अमेरिकी डॉलर में मूल्यवर्गित ऋण महत्वपूर्ण घटक बना रहा और मार्चांत 2015 में कुल विदेशी ऋण 58.3 प्रतिशत था जिसके बाद भारतीय रुपया (27.9 प्रतिशत), एसडीआर (5.8 प्रतिशत), जापानी येन (4.0 प्रतिशत) और यूरो (2.4 प्रतिशत) में मूल्यवर्गित ऋण का घटक आता है।
  • सेबी द्वारा जारी आंकड़ों के अनुसार, विदेशी संस्थागत निवेशकों (FII) ने वर्ष 2014-15 में भारतीय बाजार में 45.7 बिलियन अमेरिकी डॉलर की निवल राशि का निवेश किया है।
  • इसमें से लगभग 60 प्रतिशत अर्थात 27.3 बिलियन अमेरिकी डॉलर की एक बड़ी राशि का निवेश ऋण के रूप में किया गया है जबकि शेष का निवेश इक्विटी के रूप में किया गया है।
  • ब्लूमबर्ग के आंकड़ों के अनुसार, वर्ष 2014-15 में भारत ऋण के प्रवाह के संदर्भ में चीन को छोड़कर एशिया प्रशांत क्षेत्र में जापान और कोरिया के बाद तीसरा सबसे बड़ा ऋण प्राप्तकर्ता देश है।

संबंधित लिंक भी देखें…
http://finmin.nic.in/the_ministry/dept_eco_affairs/economic_div/India_External_Debt201415H.pdf
http://pib.nic.in/newsite/PrintRelease.aspx?relid=126424