प्रधानमंत्री की यूनाइटेड किंगडम की यात्रा

Visit of Prime Minister to UK

प्रश्न-हाल ही में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी यूनाइटेड किंगडम की यात्रा पर रहे। यह कितने वर्षों बाद पहली द्विपक्षीय यात्रा है?
(a) 8 वर्षों बाद
(b) 10 वर्षों बाद
(c) 9 वर्षों बाद
(d) 6 वर्षों बाद
उत्तर-(c)
संबंधित तथ्य

  • 12-14 नवंबर, 2015 के दौरान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी यूनाइटेड किंगडम (U.K.) की तीन दिवसीय यात्रा पर रहे।
  • उल्लेखनीय है कि यह 9 वर्षों बाद पहली द्विपक्षीय यात्रा है।
  • इससे पूर्व प्रधानमंत्री डॉ. मनमोहन सिंह ने वर्ष 2006 में यूनाइटेड किंगडम का दौरा किया था।
  • जहां तक यूनाइटेड किंगडम के साथ द्विपक्षीय रिश्तों का संबंध है, यह 2004 से ही अब 11 वर्षों से एक सामरिक संबंध है।
  • यूनाइटेड किंगडम तथा भारत एक दूसरे के देशों में वास्तव में अग्रणी निवेशक हैं।
  • यूनाइटेड किंगडम में भारतीय निवेश का आंकड़ा पिछले कई वर्षों से प्रतिवर्ष 500 से 600 मिलियन अमरीकी डॉलर है।
  • यू.के. में भारतीय एफ.डी.आई. निवेश संख्या 122 है।
  • व्यापार की दृष्टि से यू.के.भारत का महत्त्वपूर्ण साझेदार है।
  • यू.के. के साथ भारत का द्विपक्षीय व्यापार 18 बिलियन अमरीकी डॉलर के आस-पास है।
  • दोनों देशों के बीच विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी, शिक्षा, स्वास्थ्य देख-रेख और संस्कृति में बहुत मजबूत साझेदारी है।
  • यू.के. में लगभग 800 भारतीय कंपनियां कार्यरत हैं, जिसमें टाटा यू.के. में निजी क्षेत्र का विशालतम नियोक्ता है।
  • यू.के. में भारतीय डायसपोरा दूसरा सबसे बड़ा डायसपोरा है।
  • यू.के. में भारतीय मूल के व्यक्तियों की संख्या लगभग 1.5 मिलियन के आस-पास है।
  • यू.के. में 3 लाख से अधिक एनआरआई भी रहते हैं। वे मोटे-तौर पर यू.के. की कुल आबादी का 2 प्रतिशत है।
  • इस यात्रा के दौरान प्रधानमंत्री ने यू.के.की संसद को संबोधित किया।
  • उल्लेखनीय है कि यू.के. की संसद को संबोधित करने वाले वे भारत के पहले प्रधानमंत्री हैं।
  • इस यात्रा के दौरान प्रधानमंत्री ने लंदन में डॉ. भीमराव रामजा अंबेडकर मेमोरियल का उदघाटन किया।
  • इसके अलावा वह टेम्स नदी के तट के दाईं ओर श्री बासावेश्वर की आवक्ष प्रतिमा का अनावरण किया।
  • प्रधानमंत्री ने यू.के. की यात्रा के दौरान महारानी एलिजाबेथ द्वितीय से मुलाकात की।
  • दोनों देशों ने इस यात्रा के दौरान सिविल न्यूक्लियर एग्रीमेंट पर हस्ताक्षर किए।
  • प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और प्रधानमंत्री डेविड कैमरून ने यूनाइटेड किंगडम-भारत शिखर बैठक 2015 में भाग लिया।
  • इस बैठक के पश्चात दोनों प्रधान मंत्रियों ने दोनों देशों के बीच साझेदारी को बढ़ाने के लिए प्रधानमंत्री स्तर पर द्विवार्षिक शिखर बैठकों का आयोजन करने का संकल्प किया।
  • उन्होंने एक नई रक्षा एवं अंतर्राष्ट्रीय सुरक्षा साझेदारी पर सहमत होने का भी संकल्प किया जिससे साइबर सुरक्षा, आतंकवाद की खिलाफत एवं समुद्री सुरक्षा सहित रक्षा एवं सुरक्षा पर सहयोग गहन होगा।
  • दोनों प्रधानमंत्रियों ने सबके के लिए सुरक्षित, सस्ती एवं संपोषणीय ऊर्जा प्रदान करने में कौशल एवं विशेषज्ञता की साझेदारी के महत्त्व की फिर से पुष्टि की।
  • प्रधानमंत्री कैमरून ने भारत के विद्युत क्षेत्र में राष्ट्रीय एवं राज्य स्तरीय सुधारों की सहायता के लिए तकनीकी सहायता के 5 वर्षीय कार्यक्रम के लिए 10 मिलियन पाउंड की घोषणा की।
  • दोनों प्रधानमंत्रियों ने भारत की फ्लैगशिप अवसंरचना निवेश पहल, राष्ट्रीय अवसंरचना निवेश निधि (एनआईआईएफ) पर भारत और यूके के बीच दीर्घावधिक सामरिक साझेदारी का स्वागत किया तथा एनआईआईएफ की छत्रछाया में एक भारत-यूके साझेदारी निधि स्थापित करने की घोषणा की।
  • प्रधानमंत्री मोदी तथा प्रधानमंत्री कैमरुन ने भारत और यू.के के बीच गहन एवं सार्थक कारोबारी संबंध को नोट किया तथा भारत और यू.के के बीच 9.2 बिलियन पाउंड के वाणिज्यिक सौदों का स्वागत किया जिसकी घोषणा इस यात्रा के दौरान की गई तथा अनुबंध के रूप में सूचीबद्ध है।
  • दोनों प्रधानमंत्रियों ने 5 वर्षों में 75,000 वंचित युवाओं एवं बच्चों को कौशलों से लैस करने के लिए एचएसबीसी की भारत में ‘जीवन के लिए कौशल’ पहल का स्वागत किया जो 10 मिलियन पाउंड का कार्यक्रम है।
  • दोनों प्रधानमंत्रियों ने तकनीकी सहायता, विशेषज्ञता के आदान-प्रदान एवं कारोबारी भागीदारी के माध्यम से भारत के महत्त्वाकांक्षी शहरी विकास लक्ष्यों की सहायता करने के लिए इंदौर, पुणे और अमरावती के साथ तीन भारत-यूके शहर साझेदारियों की घोषणा की।
  • दोनों प्रधानमंत्रियों ने स्वस्थ नदी प्रणाली के लिए नई टेम्स/गंगा साझेदारी शुरू की।
  • दोनों प्रधानमंत्रियों ने घोषणा की कि यू.के दिल्ली में प्रौद्योगिकी शिखर बैठक 2016 के लिए साझेदार देश होगा।
  • उन्होंने भारत में एक संयुक्त भारत-यू.के पादप विज्ञान केंद्र की स्थापना का भी स्वागत किया।
  • दोनों प्रधानमंत्रियों ने यह घोषणा की कि हमारे गहरे सांस्कृतिक संबंधों का जश्न मनाने के लिए 2017 में यूके-भारत संस्कृति वर्ष तथा भारत की आजादी की 70वीं वर्षगांठ मनाई जाएगी।

संबंधित लिंक भी देखें…
http://www.mea.gov.in/outgoing-visit-info.htm?2/825/Visit+of+Prime+Minister+to+UK+November+1214+2015
http://www.mea.gov.in/outoging-visit-detail.htm?26012/Press+Statement+by+the+Prime+Minister+during+his+visit+to+UK+November+12+2015