प्रश्न – 21 दिसंबर, 2024 को केंद्रीय पर्यावरण‚ वन और जलवायु परिवर्तन मंत्री भूपेंद्र यादव ने 18वीं भारत वन स्थिति रिपोर्ट‚ 2023 जारी की। इससे संबंधित निम्न कथनों पर विचार कीजिए-
(i). इसके अनुसार‚ देश में कुल वन और वृक्षावरण 8,27,356.95 वर्ग किमी. है‚ जो कि देश के कुल भौगोलिक क्षेत्र का 25.17 प्रतिशत है।
(ii). देश में कुल वनावरण 7,15,342.61 वर्ग किमी. है‚ जो कि कुल भौगोलिक क्षेत्र का 21.76 प्रतिशत है।
उपर्युक्त कथनों में से कौन-सा/से कथन सही है/हैं?
(a) केवल (i) (b) केवल (ii)
(c) (i) एवं (iii) दोनों (d) इनमें से कोई नहीं
उत्तर – (c)
व्याख्यात्मक उत्तर
- 21 दिसंबर, 2024 को केंद्रीय पर्यावरण‚ वन और जलवायु परिवर्तन मंत्री भूपेंद्र यादव ने 18वीं भारत वन स्थिति रिपोर्ट‚ 2023 जारी की।
- इसके अनुसार‚ देश में कुल वन और वृक्षावरण 8,27,356.95 वर्ग किमी. है‚ जो कि देश के कुल भौगोलिक क्षेत्र का 25.17 प्रतिशत है।
- वर्ष 2021 की तुलना में, देश के वन और वृक्ष आवरण में 1445.81 वर्ग कि.मी. की वृद्धि हुई है
- देश में कुल वनावरण 7,15,342.61 वर्ग किमी. है‚ जो कि कुल भौगोलिक क्षेत्र का 21.76 प्रतिशत है।
- वनावरण में 156.41 वर्ग कि.मी. और वृक्ष आवरण में 1289.40 वर्ग कि.मी. की वृद्धि हुई
प्रश्न – इस रिपोर्ट के अनुसार, क्षेत्रफल की दृष्टि से सबसे अधिक वन एवं वृक्ष आवरण वाले शीर्ष वाला राज्य कौन- सा है?
(a) छत्तीसगढ़ (b) मिजोरम
(c) ओडिशा (d) मध्य प्रदेश
उत्तर – (d)
व्याख्यात्मक उत्तर
- क्षेत्रफल की दृष्टि से सबसे अधिक वन एवं वृक्ष आवरण वाले शीर्ष तीन राज्य हैं-
- मध्य प्रदेश (85,724 वर्ग कि.मी.),
2.अरुणाचल प्रदेश (67,083 वर्ग कि.मी.) और
3.महाराष्ट्र (65,383 वर्ग कि.मी.)
- क्षेत्रफल की दृष्टि से सर्वाधिक वनावरण वाले शीर्ष तीन राज्य हैं-
1.मध्य प्रदेश (77,073 वर्ग कि.मी.),
2.अरुणाचल प्रदेश (65,882 वर्ग कि.मी.) और
3.छत्तीसगढ़ (55,812 वर्ग कि.मी.) हैं। - वन एवं वृक्ष आवरण में अधिकतम वृद्धि दर्शाने वाले शीर्ष चार राज्य हैं-
1.छत्तीसगढ़ (684) वर्ग कि.मी.),
2.उत्तर प्रदेश (559 वर्ग कि.मी.),
3.ओडिशा (559 वर्ग कि.मी.) तथा
4.राजस्थान (394 वर्ग कि.मी.) - वनावरण में अधिकतम वृद्धि दर्शाने वाले शीर्ष तीन राज्य हैं-
1.मिजोरम (242 वर्ग कि.मी.),
2.गुजरात (180 वर्ग कि.मी.) और
3.ओडिशा (152 वर्ग कि.मी.) - कुल भौगोलिक क्षेत्रफल की तुलना में वन आवरण के प्रतिशत की दृष्टि से, लक्षद्वीप (91.33 प्रतिशत) में सबसे अधिक वन आवरण है, जिसके बाद मिजोरम (85.34 प्रतिशत) और अंडमान एवं निकोबार द्वीप (81.62 प्रतिशत) का स्थान है।
- वर्तमान आकलन के अनुसार , 19 राज्यों/केंद्र शासित क्षेत्रों में 33 प्रतिशत से अधिक भौगोलिक क्षेत्र वनावरण के अंतर्गत हैं।
- इनमें से आठ राज्यों/केंद्र शासित क्षेत्रों, जैसे मिजोरम, लक्षद्वीप, अंडमान और निकोबार द्वीप समूह, अरुणाचल प्रदेश, नगालैंड, मेघालय, त्रिपुरा और मणिपुर में 75 प्रतिशत से अधिक वनावरण है।
- कुल कच्छ वनस्पति आवरण 4,992 वर्ग कि.मी. है।
- भारत के वन और वाह्य वन वृक्षों की कुल निधि 6430 मिलियन घन मीटर अनुमानित की गई है, जिसमें से 4479 मिलियन घन मीटर वनों के भीतर और 1951 मिलियन घन मीटर वन क्षेत्र के बाहर है।
- देश में बांस धारित क्षेत्र का विस्तार 1,54,670 वर्ग किलोमीटर अनुमानित किया गया है।
- मध्य प्रदेश में बांस का सबसे अधिक क्षेत्रफल 20,421 वर्ग किमी है, इसके बाद अरुणाचल प्रदेश (18,424 वर्ग किमी), महाराष्ट्र (13,572 वर्ग किमी) और ओडिशा (12,328 वर्ग किमी) का स्थान आता है।
- वाह्य वन वृक्षों से औद्योगिक काष्ठ का कुल वार्षिक संभावित उत्पादन 91.51 मिलियन घन मीटर अनुमानित किया गया है।
- वर्तमान आकलन में देश के वनों में कुल कार्बन स्टॉक 7,285.5 मिलियन टन अनुमानित किया गया है।
- एनडीसी के लक्ष्यों की प्राप्ति के संबंध में, वर्तमान आकलन से ज्ञात होता है कि भारत का कार्बन स्टॉक 30.43 बिलियन टन CO2 के समतुल्य तक पहुंच गया है, जो दर्शाता है कि 2005 के आधार वर्ष की तुलना में, भारत पहले ही 2.29 बिलियन टन अतिरिक्त कार्बन सिंक तक पहुंच चुका है, जबकि 2030 तक 2.5 से 3.0 बिलियन टन का लक्ष्य रखा गया है।
- देश का कुल मैंग्रोव क्षेत्र 4,991.68 वर्ग किमी है, जो देश के कुल भौगोलिक क्षेत्र का 0.15% है।
- मैंग्रोव वन आवरण में उल्लेखनीय वृद्धि आंध्र प्रदेश (13.01 वर्ग किमी) में देखी गई है, इसके बाद महाराष्ट्र (12.39 वर्ग किमी) का स्थान है।
- उत्तर प्रदेश में कुल वनावरण 15,045.80 वर्ग किमी. (6.24 प्रतिशत) है।
- ज्ञातव्य है कि देहरादून स्थित भारतीय वन सर्वेक्षण (Forest Survey of India) द्वारा प्रत्येक 2 वर्ष पर सुदूर संवेदन (Remote Sensing) आधारित उपग्रह चित्रण के माध्यम से देश में वनों एवं वृक्षों की स्थिति पर ‘भारत वन स्थिति रिपोर्ट’ जारी की जाती है।
- इसका प्रकाशन वर्ष 1987 से किया जा रहा है।
- राष्ट्रीय वन नीति‚ 1988 के अनुसार‚ देश के कुल भौगोलिक क्षेत्र का 33 प्रतिशत भू-भाग वृक्षावरण से आच्छादित होना चाहिए।
लेखक- विजय प्रताप सिंह
संबंधित लिंक भी देखें…
https://fsi.nic.in/uploads/isfr2023/isfr_book_eng-vol-1_2023.pdf